"राग अहीर भैरव" च्या विविध आवृत्यांमधील फरक

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(चर्चा | योगदान)
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ओळ ४:
* अलबेला सजन आयॊ रे
* अपने जीवन की उलझन को (चित्रपट - उलझन; )
* चलॊचलो मान जाए घर अपने (चित्रपट - स्वामी विवेकानंद; )
* जाग रे बंदे (चीज - विलंबित, गायक - उस्ताद अमीर खान)
* जिंदगी को संवारना होगा (चित्रपट – आलाप; )
* धीरे धीरे सुबह हुई, जाग उठी जिंदगी (चित्रपट - हैसियत; संगीत - बप्पी लाहिरी; गायक - येसू दास)
* पिया परवीन (चीज, द्रुत, गायक - उस्ताद अमीर खान)
* पूछो ना कैसे मैंने रैन बिताई (चित्रपट -मेरी सूरत तेरी आँखें; )
* मन आनंद आनंद छायो (चित्रपट - विजेता; )
* माई रे मैं कैसे जियूँ री
* मेरी गलियों से लोगों की यारी बढ़ गयी (चित्रपट -धर्मात्मा; )
* मेरी बीना तुम बिन रॊते
* मेरे बिना तुम बिन रोये (चित्रपट- देख कबीरा रोया; )
* मैं तो कब से तेरी कब से तेरी शरण में हूँ (चित्रपट – राम नगरी; )
* राम का गुण गान करिये
* राम तेरी गंगा मैली हो गई (चित्रपट - राम तेरी गंगा मैली; )
* वक्त करता जो वफा आप हमारे होते (चित्रपट - दिलने पुकारा; )
* वंदना करो, अर्चना करो। (चीज, गायक - पं. जसराज)
* सोलह बरस की बाली उमर को सलाम (चित्रपट -एक दूजे के लिए; )
* हमें कोई ग़म न था, ग़मे-आशिक़ी से पहले